
नईदुनिया प्रतिनिधि, सिवनी। जबलपुर लोकायुक्त एसपी अंजुलता पटले ने बताया कि धनौरा निवासी आवेदक सुरेन्द्र जैन के नाईपिपरिया गांव स्थित जैन वेयर हाउस में धान उपार्जन व अन्य अनाज खरीदी में पर्याप्त सुविधाएं न होने की लिखा-पढ़ी वरिष्ठ अधिकारियों को ना करने के बदले आरोपित सहायक गुणवत्ता नियंत्रक मुकेश परमार ने 25 हजार रुपये मांगे थे।
बाद में आपस में हुई बातचीत में 15 हजार रुपये की रिश्वत लेने आरोपित तैयार हो गया था। 12 दिसंबर को जबलपुर लोकायुक्त दल ने 15 हजार रुपये की रिश्वत लेते हुए कार्यालय मप्र वेयर हाउसिंग व लाजिस्टिक कार्पोरेशन धनौरा के कक्ष में आरोपित मुकेश परमार पुत्र स्व नानजी परमार (41) को रंगे हाथ गिरफ्तार किया है।
आरोपित के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 (संशोधन) 2018 की धारा-7, 13(1)बी, 13(2) के अंतर्गत कार्रवाई की जा रही है। लोकायुक्त के कार्रवाई दल में निरीक्षक शशि मर्सकोले, निरीक्षक राहुल गजभिए, निरीक्षक बृजमोहन सिंह नरवरिया व स्टाफ शामिल रहा।
गौरतलब है कि लोकायुक्त पुलिस महानिदेशक योगेश देशमुख के निर्देशन में भ्रष्टाचार के खिलाफ विभाग की सख्त कार्रवाई निरंतर जारी है। एक दिन पहले 11 दिसंबर को दल ने नरसिंहपुर में सहकारिता निरीक्षक को 3 हजार रुपये की रिश्वत लेते गिरफ्तार किया था, जबकि बालाघाट के बैहर में नायब तहसील कार्यालय को 3 हजार रुपये की रिश्वत लेते पकड़ा था।